सीकर. बढ़ते कोरोना संक्रमण के बीच बरती जा रही लापरवाही को लेकर प्रशासन ने कड़ाई अधिक कर दी है। गाइड लाइन की पालना के लिए शुक्रवार रात नौ बजे पुलिस ने शहर की सभी दुकानें बंद करवा दी। वहीं प्रशासन की ओर से गठित टीम ने लापरवाही बरतने पर शहर की 10 दुकानों को 72 घंटे तक के लिए सीज किया है। साथ ही मास्क नहीं पहनने पर 35 लोगों के चालान काटे गए। दुकानों को सीज की कार्रवाई के दौरान व्यापारियों ने इसका विरोध किया, लेकिन टीम ने समझाइश से मामला शांत कर कार्रवाई की। नगर विकास न्यास सचिव इन्द्रजीत सिंह ने बताया कि कोविड-19 की दूसरी लहर के प्रसार को रोकने के लिए सरकार के निर्देशों की पालना में फेस मास्क, सामाजिक दूरी एवं मानक संचालन प्रकिया के उल्लघंन अवहेलना में संयुक्त टीम ने औचक निरीक्षण कर यह कार्रवाई की। शहर के ईदगाह से दंग की नसीयां, तहसील कार्यालय के सामने, फतेहपुरी गेट, सुभाष चौक, चिरंजी पनवाडी की गली एवं घण्टाघर, नया शहर सूरजपाल गेट तक व्यवसायिक प्रतिष्ठानों पर औचक निरीक्षण कर 10 व्यावसायिक प्रतिष्ठानों को 72 घण्टे के लिए सीज किया गया व 35 व्यक्तियों को मास्क नहीं पहनने पर चालन काटा गया। दस्ते ने पैदल ही मार्च करते हुये कार्रवाई की। इस दौरान नगर परिषद के राजस्व अधिकारी महेश योगी, कोतवाली थानाधिकारी कन्हैयालाल, यातायात निरीक्षक कैलाश चन्द्र मय जब्ता उपस्थित थे।
लोसल में एक लाइब्रेरी और ई मित्र दुकान सीजसीकर. कोरोना गाइडलाइन की अवेहलना पर सख्ती दिखाते हुए लोसल में प्रशासन ने कार्रवाई की। अधिशासी अधिकारी सहदेवदान चारण ने बताया कि गणेश मंदिर के पास ई-मित्र की दुकान व बस स्टैंड के पास एक लाइब्रेरी में बिना मास्क के बड़ी संख्या में लोग मिले। इसके बाद दोनो को नोटिस देते हुए तीन दिन के लिए सीज किया है। वहीं थानाधिकारी ने बताया कि पांच दिनों से अभियान चलाकर बिना मास्क वाले लोगों के चालान काटे जा रहे है।
उल्टी दस्त से हुई महिला की मृत्युसीकर. गांव कोलीड़ा निवासी सरोज देवी की मृत्यु उल्टी व दस्त के कारण हुई थी। सामुदायिक स्वास्थ्य केंद्र कोलीड़ा के चिकित्सा अधिकारी प्रभारी डॉ सूरजप्रकाश इंदोरिया ने सीएमएचओ कार्यालय को भेजी रिपोर्ट में बताया कि कोलीड़ा निवासी सरोज देवी पत्नी नेमीचंद मूण्ड ने दो अप्रैल को कोविड-19 का टीका लगवाया था। चार अप्रैल तक वह स्वस्थ्य थी। चार अप्रेल को वह शादी में गई थी। शाम को उल्टी दस्त की शिकायत होने पर परिजन पांच अप्रैल की सुबह सीएचसी पर लेकर आए। इस पर उसे वहां भर्ती कर उपचार किया गया, लेकिन तबियत ज्यादा खराब होने पर उसे कल्याण अस्पताल सीकर रैफर किया गया। पांच अप्रैल को जयपुर में उसकी मृत्यु हुई। मृतका के बीपी की दवाइयां भी सीएचसी कोलीड़ा से लंबे समय से चल रही थी।
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