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जिप बैठक: अधिकारियों के गोलमाल जवाब पर नाराज सांसद बोले- यह अफसरों की पंचायती नहीं…

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सीकर. गांवों की सरकार की बुधवार को हुई साधारण सभा की बैठक में जनप्रतिनिधियों के सवालों से अफसर घिर गए। प्रधानमंत्री ग्राम सड़क योजना की सड़कों के अनुमोदन को लेकर आधे घंटे तक सदस्यों ने हंगामा किया। अधिकारी सही जवाब नहीं दे पाए तो सांसद सुमेधानंद सरस्वती भी नाराज हो गए। सांसद बोले, यह अधिकारियों की पंचायती नहीं है जो चाहे वह बता रहे हो। यहां सब जनता के चुने हुए प्रतिनिधि बैठे हैं। इस तरह के गोलमाल जवाब से काम नहीं चलने वाला। आखिर में अधिकारियों ने पंचायत समितियों में लिए प्रस्तावों को भी शामिल करने की बात कही। इस बीच टूटी सड़क व अवैध खनन का मुद्दा उठने पर जिला कलक्टर अविचल चतुर्वेदी को खान विभाग के एमई के नहीं होने का पता चला। इस पर उन्होंने विभाग के कर्मचारियों से पूछा कि एमई कहां गए तो उन्होंने कहा कि किसी काम से जयपुर गए हैं। इस पर कलक्टर नाराज हुए और कहा कि किससे इजाजत लेकर जयपुर गए। उन्होंने अभी जयपुर से वापस बुलाने के निर्देश दिए। कलक्टर की सख्ती की जानकारी जैसे ही एमई रामलाल को मिली वे दोपहर साढ़े तीन बजे जिला परिषद सभागार में पहुंच गए। कलक्टर ने कहा कि बिना अनुमति कोई भी अफसर मुख्यालय छोड़कर जाएगा तो सख्त कार्रवाई होगी। बैठक में जिला परिषद के मुख्य कार्यकारी अधिकारी सुरेश कुमार ने प्रशासन गांवों के संग अभियान की जानकारी दी।
 
उप जिला प्रमुख बोले, फिर पंचायतों में क्यों की…
बैठक शुरू होते ही सार्वजनिक निर्माण विभाग के अधिकारियों ने बताया कि प्रधानमंत्री सड़क योजना के तहत 324 किलोमीटर सड़क बननी है। उन्होंने जैसे ही सूची के नाम पढऩा शुरू किया तो उप जिला प्रमुख ताराचंद धायल खड़े हो गए। उन्होंने कहा एक दिन पहले आपने सभी पंचायत समितियों में बैठक कर जनप्रतिनिधियों से प्रस्ताव लिए। अब यहां दूसरे मार्गो के नाम बता रहे हो…। इस पर कैलाश बोपिया सहित अन्य सदस्य भी उखड़ गए। इस बीच सांसद सुमेधानंद सरस्वती ने भी कह दिया इस सूची का अनुमोदन सदन नहीं करेगा। इस पर कलक्टर ने मामले में दखल देते हुए अधिकारियों को फटकार लगाई। इसके बाद अधिकारी स्थिति स्पष्ट कर सके। धायल ने कहा कि यदि यही करना था तो फिर यह नाटक करने की क्या आवश्यकता थी।
टूटी सड़कों को लेकर 140 सवाल, अफसरों का एक ही जवाब टेंडर हो गएटूटी सड़कों को लेकर सबसे ज्यादा अधिकारी घिरे। सदस्यों ने सवा घंटे में 140 सवाल दाग दिए। अधिकारियों ने ज्यादातर सवालों पर एक ही उत्तर दिया कि प्रस्ताव बन गए हैं, टेंडर हो रखे हैं। इस पर कलक्टर भी नाराज हुए। उन्होंने सार्वजनिक निर्माण विभाग से सभी प्रस्तावों की कॉपी मांग ली। सदस्य इंदिरा चौधरी ने फतेहपुर रोड व ताराचंद धायल सहित अन्य टूटी सड़कों का मुद्दा उठाया।
 
अब मनमर्जी से नहीं कटेंगे फीतेसांसद, उप जिला प्रमुख व सदस्यों ने मनमर्जी से उद्घाटन व शिलान्यास कार्यक्रम करने को लेकर भी काफी नाराजगी जताई। सांसद ने कहा कि प्रधानमंत्री सड़क योजना के तहत 236 स्थानों पर कार्य चल रहे हैं, लेकिन ज्यादातर स्थानों पर क्षेत्र के जनप्रतिनिधियों को नहीं बुलाया जाता। इस पर कलक्टर ने सभी विभागों के अधिकारियों को उद्घाटन व शिलान्यास का कलैण्डर बनाने के निर्देश दिए। उन्होंने भविष्य में इस तरह की चूक होने पर संबंधित अधिकारियों के खिलाफ सख्त कार्रवाई के निर्देश दिए।
सोनोग्राफी के लिए तीन दिन का इंतजार, ऐसे तो मर जाएंगे मरीज
एसके अस्पताल में सोनोग्राफी के लिए मरीजों को तीन-तीन दिन की वेटिंग मिलने का मुद्दा भी बैठक में छाया रहा। सदस्य जयंत कुमार ने मामला उठाया कि जब शेखावाटी के सबसे बड़े अस्पताल में यह हाल है तो अन्य अस्पतालों का क्या होगा। उन्होंने कहा कि जब स्वास्थ्य जैसे मामले में इस तरह की लापरवाही होगी तो मरीज तो इंतजार करते हुए ही मर जाएगा।
पोर्टल चलता नहीं, कैसे मिलेगा मुआवजाउप जिला प्रमुख ताराचंद धायल सहित अन्य सदस्यों ने फसल खराबे के मुआवजे को लेकर भी अधिकारियों को घेर लिया। फसलों की गिरदावरी कराने के मामले मेंं कलक्टर ने कहा कि राजस्व विभाग को प्रस्ताव भेजा हुआ है। वहां से आदेश मिलने के बाद जिले में विशेष गिरदावरी कराई जाएगी। सदस्यों ने कहा कि बीमा के नाम पर किसानों से लाखों रुपए प्रीमियम के वसूले जा रहे हैं, लेकिन खराबा होने पर पोर्टल ही नहीं चलता। ऐसे में किसानों को कैसे मुआवजा मिलेगा।
‘विधायक जी वोट किसी को भी मिले, लेकिन बुलाए तो सही’
जिला परिषद की साधारण सभा की बैठक में बुधवार को महज दांतारामगढ़ विधायक वीरेन्द्र सिंह ही पहुंचे। जबकि सात विधायक नहीं आए। सांसद ने विधायक वीरेन्द्र सिंह को कहा कि आपने अपने क्षेत्र में इतने उद्घाटन करवा लिए लेकिन सांसद को प्रधानमंत्री सड़क योजना के उद्घाटन में भी नहीं बुलाया। बाद में विधायक वीरेन्द्र सिंह ने चुटकी लेते हुए कहा कि सांसद टूटी सड़कों के प्रस्तावों को दिल्ली से मंजूरी दिलाने की बात कर रहे हैं तो यहां से जयपर-दिल्ली सड़क का भी प्रस्ताव भिजवा दो, ताकि दिल्ली जाने में परेशानी नहीं हो। इस पर सदन में जमकर ठहाके लगे।सदन के चर्चित मुद्दे: ठहाके के साथ फैसले भी हुए
1. सदन की गरिमा बनी रहे, इसलिए दस मिनट का ब्रेक:
बैठक के बीच में सदस्यों के लिए जलपान परोसा गया। इस पर जिला परिषद सदस्य इंदिरा चौधरी ने आपत्ति जताते हुए कहा कि जब हम ही इस तरह से करेंगे तो सदन की गरिमा कैसे बनी रहेगी। उन्होंने सुझाव दिया कि सदन में सर्व सम्मति से प्रस्ताव लिया जाए कि जलपान के लिए दस मिनट का ब्रेक होगा। इस पर सर्व सम्मति से निर्णय हुआ। इससे पहले सदस्य की ओर से चाय के कपो को लेकर भी सवाल दागा गया था। इसके बाद जिला परिषद की बैठक में कप बदले गए। जलपान के लिए लिए ब्रेक का मुद्दे पर कलक्टर व अध्यक्ष ने जमकर ठहाके लगाए।
2. जवान, किसान की बात के बीच खोली खराब फसलों की पिटोरी:
निर्दलीय सदस्य सुभाष बाज्या जिला परिषद की दूसरी बैठक में भी छाए रहे। उन्होंने किसानों व जवानों के मुद्दों को लेकर अफसरों को घेरा। फसल खराबे के मुद्दे पर सरकार को घेरते हुए उन्होंने अचानक एक पिटोली खोली जिसमें खराब फसलेें रखी हुई थी। उन्होंने जिला प्रमुख गायत्री बाजौर, कलक्टर अविचल चतुर्वेदी व सांसद सुमेधानंद सरस्वती को खराब फसल दिखाई। इस पर सांसद व कलक्टर ने कहा कि राजस्व विभाग को प्रस्ताव भेजा हुआ है। उप जिला प्रमुख ताराचंद धायल ने कहा कि सर्व सम्मति से प्रस्ताव लेकर सरकार को भिजवाया जाए।12 बजे शुरू हुई बैठक रात आठ बजे तक चर्चाबैठक सवा ग्यारह बजे शुरू होनी थी। इससे पहले एक बैठक आने की वजह से जिला प्रमुख बाजौर 11.40 बजे सदन में पहुंची। दोपहर 12 बजे जिला कलक्टर अविचल चतुर्वेदी आए। इसके बाद बैठक शुरू हो सकी। पहले साधारण सभा और फिर आयोजन समिति की बैठक होने की वजह से बैठक रात आठ बजे हुई।कैसे जाए दिल्ली, अफसर बोले, 40 करोड़ से होगा कामसदस्य कैलाश बोपिया ने मामला उठाया कि दिल्ली मार्ग की हालात बेहद खराब है। इसलिए सीकर वालों को चौमूं या नारनौल होते हुए दिल्ली जाना पड़ रहा है। सांसद ने भी समस्या को गंभीर माना। सार्वजनिक निर्माण विभाग के अधिकारियों ने बताया कि आरएसआरडीसी ने 40 करोड़ के टेंडर कर दिए है।और इन मुद्दों पर भी घिरे अफसर-सरकारी अस्पतालों में बने चिकित्सकों के आवास जर्जर हो रहे हैं। चिकित्सकों के रात को नहीं ठहरने से मरीजों को काफी परेशानी हो रही है।-कोरोना में जिन लोगों की मौत हुई उनको सहायता राशि नहीं मिली। कलक्टर ने एसडीएम के जरिए प्रस्ताव भिजवाने पर सहायता राशि दिलवाने का आश्वासन दिया।-सदस्य सोहनी चौधरी ने रीको क्षेत्र के आवंटन में हुई गड़बड़ी का मामला उठाया। इस पर जिला प्रमुख ने जांच का आश्वासन दिया।-प्रधान मदन सेवदा ने सड़क निर्माण के समय पानी निकासी के प्रावधान रखे जाने का मुद्दा उठाया।-सदस्य जयंत ने कहा कि एसके अस्पताल के ट्रोमा सेंटर में घायलों को समय पर उपचार नहीं मिलता है।-बनवारी ढाका ने टूटी सड़कों से होने वाले हादसों का मुद्दा उठाया।और ऐसे समझें बैठक का गणित-बैठक की कार्यवाही: 8 घंटेमुद्दे उठे: 310 से अधिकहंगामा हुआ: 5 मुद्दों परकितने प्रस्तावों का अनुमोदन: 02एसपी बोले, नहीं चलने देंगे हुक्काबारबैठक में उप जिला प्रमुख ताराचंद धायल ने कहा कि नवलगढ़ रोड व पिपराली रोड इलाके में छोटे-छोटे कमरों में हुक्काबार संचालित हो रहे है। इससे युवा पीढ़ी नशे के दलदल में फंस रही है। इस पर पुलिस अधीक्षक कुंवर राष्ट्रदीप ने कहा कि किसी भी सूरत में शहर में हुक्काबार को नहीं चलने दिया जाएगा। उन्होंने सदस्यों ने कहा कि आप मुझे फोन कर बताए गोपनीय कार्रवाई कराकर सभी को बंद कराएंगे।
कलक्टर बोले, खेद…
कलक्टर ने कहा कि इस तरह की समस्याओं के लिए सदस्य बैठक का इंतजार नहीं करें। सभी सदस्य समस्या सामने आने पर कार्यालय में आ सकते है। इस पर कुछ सदस्यों ने अधिकारियों के रवैये को लेकर आपत्ति जताई। कलक्टर ने कहा कि इस तरह की बात हुई है तो उसका खेद है।
 

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