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HomeRajasthan NewsSikar newsजिले के 75 हजार से ज्यादा किसानों पर 225 करोड़ का कर्ज

जिले के 75 हजार से ज्यादा किसानों पर 225 करोड़ का कर्ज

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सीकर. फसल बेचकर खुद के परिवार के सपने पूरे करने की भूमिपुत्रों की मंशा पर अगले 15 दिन भारी पड़ेंगे। वजह सहकारी बैंक से ब्याज मुक्त कर्जा लेने वाले किसानों के फसली ऋण की ड्यू डेट 31 मार्च होना है। किसानों को चिंता सता रही है कि समय पर ऋण नहीं चुकाया गया तो बैंक उन्हें डिफाल्टर घोषित कर देगा और ब्याज के साथ पेनल्टी भी चुकानी पड़ेगी। ऐसे में एक बार फिर किसान साहूकारों के चंगुल में फंस गए हैं। जबकि जिले में इस बार नमी के कारण फसलों की बुवाई देरी से हुई। इस कारण रबी की फसलें अप्रेल तक बाजार में आएगी। इसके बाद ही किसानों के पास पैसा पहुंचेगा। जिसका असर अब फसलों की कटाई पर पड़ रहा है। रही सही कसर एक सप्ताह पहले जिले में हुई ओलावृष्टि से हुए नुकसान के कारण से हो गई। गौरतलब है कि जिले में 75816 किसानों ने खरीफ सीजन में 225.74 करोड़ और रबी सीजन में63975 किसानों ने 233.92 करोड़ का सहकारी बैंक से ब्याज मुक्त कर्ज ले रखा है। एक साल में दो बार मिलता है कर्जसहकार को बढ़ावा देने के लिए प्रत्येक जिला केन्द्रीय बैंक हर साल नए वित्तीय वर्ष की शुरूआत में किसानों को ब्याजमुक्त ऋण उपलब्ध कराता है। जिसका उद्देश्य होता है कि किसान बुवाई से पहले खाद-बीज व उर्वरक आसानी से ले सके। खरीफ सीजन का ऋण चुकाने के लिए अधिकांश किसानों की ड्यू डेट मार्च माह में रबी सीजन का ऋण चुकाने की डेट जून माह में होती है। इस ऋण की राशि भूमि की जोत के आधार पर होती है। इस राशि को तय समय पर चुकाने पर ही नए वित्तीय वर्ष नया लोन मिलता है। इनका कहना है…किसानों को ऋण वितरण और जमा कराने का समय निदेशालय स्तर पर तय होता है। समय पर ऋण नहीं चुकाने वाले किसानों को डिफाल्टर घोषित कर दिया जाता है।बीएल मीणा, एमडी सीकर केन्द्रीय सहकारी बैंक बिजली दर बढ़ोतरी के खिलाफ माकपा का अभियान आज से सीकर. बिजली दर बढ़ोतरी को लेकर माकपा का गांव-ढाणियों में चल रहा जत्था अभियान लगातार जोर पकड़ रहा है। धोद विधानसभा क्षेत्र में अभियान शनिवार से शुरू होगा। माकपा के तहसील सचिव रामरतन बगडिय़ा ने बताया कि धोद विधानसभा क्षेत्र के सभी गांव-ढाणियों तक 20 मार्च तक माकपा का जत्था अभियान जाएगा। जिसमें सीएए-एनआरसी एनपीआर की स्थिति पर माकपा नेता अपनी बात रखेंगे तथा बिजली की बढ़ी हुई दरों को वापस लेने, बीसीआर के नाम पर लूट को बंद करने, हर साल कृषि कनेक्शनों में किसानों को बिजली की छूट को वापस चालू करने, आवारा पशुओं की व्यवस्था करने आदि को लेकर चर्चा होंगे। सभाओं को पूर्व विधायक पेमाराम, पूर्व प्रधान उस्मान खान सहित अन्य संबोधित करेंगे।

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