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ऑनलाइन परीक्षा करवाएगा शेखावाटी विश्वविद्यालय, कवायद शुरू

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सीकर. कोरोना से सीख लेते हुए अब पंडित दीनदयाल उपाध्याय शेखावाटी विश्वविद्यालय ने ऑनलाइन परीक्षाओं की तरफ कदम आगे बढ़ाने शुरू कर दिए है। यदि विवि का यह नवाचार सफल रहा तो प्रदेश में ऑनलाइन मोड पर परीक्षा कराने वाला पहला विवि होगा। इसके लिए विवि प्रशासन ऑनलाइन परीक्षाएं कराने वाली तीन-चार कंपनियों के सम्पर्क में भी है। अब तक जहां ऑनलाइन परीक्षाओं का प्रयोग सफल रह चुका है उनसे अनुभव भी लिए जाए रहे हैं। शेखावाटी विवि के कुलपति प्रोफेसर भगीरथ सिंह बिजारणिया का मानना है कि विद्यार्थियों को प्रमोट करना एकमात्र समाधान नहीं है। इसके लिए विद्यार्थी, शिक्षक और विवि को मिलकर समाधान की राह खोजने होगी। उन्होंने कहा कि प्रमोट होने से कुछ विद्यार्थियों को नुकसान भी होता है। शुरूआत में विवि कुछ परीक्षाओं को ऑनलाइन कर सकता है। अगले चरण में अन्य कक्षाओं पर विचार किया जा सकता है। विवि कुलपति का कहना है कि जब रेलवे सहित अन्य विभागों में नौकरियों के लिए ऑनलाइन परीक्षाएं हो सकती है तो बोर्ड व विवि को इस दिशा में जरूर सोचना होगा।
अमेरिका व दिल्ली में हो सकता है तो यहां क्यों नहींविवि के कुलपति का कहना है कि अमेरिका के बहुत सारे ऐसे विश्वविद्यालय है जहां ऑफलाइन परीक्षाएं कभी होती ही नहीं है। वहां ऑनलाइन मोड के जरिए हर बार विवि ऑनलाइन परीक्षाएं ही कराता है। पिछले साल कोरोना की वजह से दिल्ली विवि ने भी इस नवाचार के अपनाया है। जब यहां ऐसा हो सकता है हम भी इस दिशा में विचार कर सकते हैं।
नकल रोकने के उपाय भी
ज्यादातर लोगों का यही सवाल है कि जब ऑनलाइन परीक्षाएं होगी तो विद्यार्थी घरों से आसानी से नकल कर सकेंगे। लेकिन ऐसा सोचना भी काफी हद तक गलत है। कुलपति का मानना है कि विवि की तरफ से पेपर बनाने वाले एक्सपर्ट को प्रशिक्षण दिया जाना चाहिए। यदि प्रश्न पत्र अच्छा हो तो नकल की भी संभावना कम हो जाती हैं, क्योंकि ऑनलाइन प्रश्न पत्र में भी समय की एक सीमा होती है।
विद्यार्थियों व कॉलेजों से संवाद के बाद उठाएंगे कदमकुलपति ने राजस्थान पत्रिका से खास बातचीत में बताया कि विद्यार्थियों व कॉलेजों के सुझाव के बाद इस दिशा में कोई कदम आगे बढ़ाया जाएगा। उन्होंने कहा कि सबसे पहले विद्यार्थियों की मनोस्थिति को समझना होगा कि वहां कोरोनाकाल में विवि से क्या उम्मीद रखते हैं। इसके बाद बाद कॉलेज प्रबंधन व विद्यार्थियों के सुझावों को शामिल करते हुए ऑनलाइन की दिशा में कदम आगे बढ़ाए जाएंगे।

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