पंजाब से लेकर हरियाणा तक किसानों के विरोध प्रदर्शन का व्यापक असर दिख रहा है. अंबाला बॉर्डर पर किसान और पुलिस आमने-सामने आए. जहां लाठीचार्ज, पानी की बौछार, आंसू गैस का इस्तेमाल किया गया तो वहीं किसानों ने भी पथराव किया.
पंजाब के मुख्यमंत्री कैप्टन अमरिंदर सिंह और हरियाणा के मुख्यमंत्री मनोहर लाल खट्टर के बीच किसानों के मुद्दों को लेकर जुबानी जंग तेज हो गई है. सीएम मनोहर लाल खट्टर ने ट्वीट करके कहा है कि एमएसपी को लेकर किसी तरह की परेशानी किसानों को झेलनी पड़ेगी तो वह राजनीति छोड़ देंगे. कैप्टन ने कहा कि किसानों पर आपकी प्रतिक्रिया चौंकाने वाली है.
कैप्टन ने कहा कि ये किसान हैं, जिन्हें एमएसपी पर आश्वत होना है, मुझे नहीं. किसानों के दिल्ली चलो आंदोलन से पहले आपको उनसे बात करनी चाहिए थी. अगर आपको लगता है कि मैं किसानों को उकसा रहा हूं तो हरियाणा के किसान भी दिल्ली क्यों मार्च कर रहे हैं? प्रदर्शन के कारण दिल्ली बॉर्डर पर भारी जाम लग गया है और लोगों को पैदल चलना पड़ रहा है.
पंजाब के मुख्यमंत्री कैप्टन अमरिंदर सिंह ने हरियाणा में पुलिस द्वारा किसानों पर किए गए लाठीचार्ज की निंदा की है. कांग्रेस नेता राहुल गांधी ने भी ट्वीट कर किसानों पर हुए एक्शन की निंदा की और लिखा कि नहीं हुआ है अभी सवेरा, पूरब की लाली पहचान चिड़ियों के जगने से पहले, खाट छोड़ उठ गया किसान काले क़ानूनों के बादल गरज रहे गड़-गड़, अन्याय की बिजली चमकती चम-चम मूसलाधार बरसता पानी, ज़रा ना रुकता लेता दम! मोदी सरकार की क्रूरता के ख़िलाफ़ देश का किसान डटकर खड़ा है.
आपको बता दे कि केंद्र सरकार के कृषि क़ानूनों के ख़िलाफ़ पिछले कई महीनों से उबल रहे हरियाणा और पंजाब के किसान दिल्ली की ओर बढ़ रहे हैं. हरियाणा, पंजाब से सैकड़ों ट्रैक्टर-ट्रालियों में किसान दिल्ली आ रहे हैं लेकिन हरियाणा की बीजेपी सरकार उन्हें रोकने की कोशिश कर रही है, जिस वजह से किसान संगठनों और पुलिस के बीच टकराव हो रहा है. अंबाला-पटियाला बॉर्डर सहित पंजाब-हरियाणा के कई बॉर्डर पर हरियाणा पुलिस ने किसानों पर पानी की बौछार की है और आंसू गैस के गोले भी दागे हैं.
लेकिन फिर भी किसान लगातार आगे बढ़ रहे है. केंद्र से लगातार गुहार लगा रहे इन दोनों राज्यों के किसानों के सब्र का बांध अब टूट गया है. किसानों के इस आंदोलन को ‘दिल्ली चलो’ का नाम दिया गया है. किसानों की एक ही मांग है कि केंद्र सरकार कृषि क़ानूनों को वापस ले ले. हरियाणा सरकार ने पंजाब से लगने वाले अपने बॉर्डर्स को सील कर दिया है, जिससे किसान दिल्ली नहीं पहुंच सकें. सरकार ने कहा है कि 26-27 नवंबर को ये बॉर्डर सील रहेंगे.
इसी तरह दिल्ली-हरियाणा के बॉर्डर पर भी पुलिस की जबरदस्त तैनाती कर दी गई है. हरियाणा के अंबाला, भिवानी, करनाल, बहादुरगढ़, झज्जर और सोनीपत में किसान संगठनों ने बड़ी तैयारी की है. हरियाणा सरकार ने किसानों को इकट्ठा होने से रोकने के लिए धारा 144 लागू कर दी है. भाकियू के अध्यक्ष बलबीर सिंह राजोवाल ने कहा है कि अगर उन्हें दिल्ली नहीं जाने दिया गया तो वे हिमाचल और जम्मू-कश्मीर के रास्तों पर जाम लगा देंगे और धरने पर बैठ जाएंगे.
हरियाणा से चंडीगढ़ जाने वाली बसों को भी रोक दिया गया है. किसानों ने कहा है कि यह प्रदर्शन एतिहासिक होगा और वे अपने आंदोलन से पीछे नहीं हटेंगे. ऐसे में हरियाणा सरकार से किसानों का टकराव हो भी रहा है और इसके बढ़ने के आसार हैं. हरियाणा के किसानों ने कहा है कि वे पंजाब के किसानों को बॉर्डर से इस ओर आने में मदद करेंगे. किसानों ने दिल्ली कूच के लिए राशन और ज़रूरी चीजों का इंतजाम भी कर लिया है.
The post खट्टर पर कैप्टन अमरिंदर सिंह का पलटवार appeared first on THOUGHT OF NATION.
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