डेरा सच्चा सौदा का प्रमुख गुरमीत राम रहीम (Gurmeet Ram Rahim) अब जेल में है. दरअसल डेरे की करतूतों को उजागर करने का लिंक 19 साल पहले की एक गुमनाम चिट्ठी से जुड़ा है. यह चिट्ठी 13 मई 2002 को तत्कालीन प्रधानमंत्री अटल बिहारी वाजपेयी को संबोधित कर लिखी गई थी. तमाम मीडिया संस्थानों को भी यह चिट्ठी भेजी गई थी.
उस समय कुछ चुनिंदा समाचार पत्रों ने ही इसे छापा था, लेकिन इस चिट्ठी के सामने आने के बाद पंजाब और हरियाणा में हलचल मच गई थी. जिस समय यह गुमनाम चिट्ठी सामने आई थी, उस वक्त डेरा प्रमुख गुरमीत राम रहीम इंसां की पंजाब और हरियाणा समेत कई राज्यों में तगड़ी पैठ थी. यह वो समय था जब वोट बैंक के लिए उस समय के बड़े-बड़े राजनेता डेरा सच्चा सौदा में सिर झुकाने पहुंचते थे. पंचकूला स्थित CBI की विशेष अदालत ने जिस रणजीत हत्याकांड में राम रहीम को दोषी ठहराया है, वह भी इस गुमनाम पत्र से ही जुड़ा हुआ है.
सबसे पहले चिट्ठी छापने वाले पत्रकार की हत्या हुई
उस समय रणजीत सिंह डेरा सिरसा का प्रबंधक था. उसकी बहन इस डेरे में साध्वी थी. डेरा प्रबंधन को शक था कि रणजीत सिंह ने ही अपनी बहन से यह चिट्ठी लिखवाई थी. सिरसा के पत्रकार रामचंद्र छत्रपति की हत्या का मामला भी इसी चिट्ठी से जुड़ा था. रामचंद्र ने ही सबसे पहले अपने अखबार में यह चिट्ठी प्रकाशित की थी. उसके बाद छत्रपति ने लगातार मामले को अखबार में छापा, जो उसकी हत्या की वजह बना.
पढ़ें वो चिट्ठी, जिसने डेरा प्रमुख के काले कारनामों की कलई खोल दी…
सेवा में, माननीय प्रधानमंत्री जी श्री अटल बिहारी वाजपेयी, भारत सरकार विषय: डेरे के महाराज द्वारा सैकड़ों लड़कियों से बलात्कार की जांच करें
श्रीमान जी, निवेदन यह है कि मैं पंजाब की रहने वाली हूं और 5 साल से डेरा सच्चा सौदा सिरसा, हरियाणा (धन-धन सतगुरु तेरा ही आसरा) में साधु लड़की के रूप में कार्य कर रही हूं. मेरे साथ यहां सैकड़ों लड़कियां भी डेरे में 16 से 18 घंटे सेवा करती हैं. हमारा यहां शारीरिक शोषण किया जा रहा है. साथ में डेरे के महाराज गुरमीत सिंह द्वारा यौन शोषण (बलात्कार) किया जा रहा है. मैं बीए पास लड़की हूं. मेरे परिवार के सदस्य महाराज के अंध श्रद्धालु हैं, उनकी प्रेरणा से मैं डेरे में साधु बनी थी.
साधु बनने के 2 साल बाद एक दिन महाराज गुरमीत की परम शिष्या साधु गुरुजोत ने रात के 10 बजे मुझे बताया कि आपको पिताजी ने गुफा (महाराज के रहने का स्थान) में बुलाया है. मैं क्योंकि पहली बार वहां जा रही थी, मैं बहुत खुश थी. यह जानकर कि आज खुद परमात्मा ने मुझे बुलाया है. गुफा में ऊपर जाकर जब मैंने देखा महाराज बेड पर बैठे हैं. हाथ में रिमोट है, सामने टीवी पर ब्लू फिल्म चल रही है. बेड पर सिराहने की ओर रिवॉल्वर रखा हुआ है.
मैं यह सब देखकर हैरान रह गई. मुझे चक्कर आने लगे. मेरे पांव के नीचे की जमीन खिसक गई. यह क्या हो रहा है. महाराज ऐसे होंगे? ऐसा मैंने सपने में भी नहीं सोचा था. महाराज ने टीवी बंद किया व मुझे साथ बैठाकर पानी पिलाया और कहा कि मैंने तुम्हें अपनी खास प्यारी समझकर बुलाया है. मेरा यह पहला दिन था. महाराज ने मेरे को बांहों में लेते हुए कहा कि हम तुझे दिल से चाहते हैं.
तुम्हारे साथ प्यार करना चाहते हैं, क्योंकि तुमने हमारे साथ साधु बनते वक्त तन-मन-धन सब सतगुरु के अर्पण करने को कहा था. तो अब ये तन-मन हमारा है. मेरे विरोध करने पर उन्होंने कहा कि इसमें कोई शक नहीं हम ही खुदा हैं. जब मैंने पूछा कि क्या यह खुदा का काम है तो उन्होंने कहा- श्रीकृष्ण भगवान थे, उनके यहां 360 गोपियां थीं जिनसे वह हर रोज प्रेम लीला करते थे, फिर भी लोग उन्हें परमात्मा मानते हैं, यह कोई नई बात नहीं है.
उन्होंने कहा- हम चाहें तो इस रिवॉल्वर से तुम्हारे प्राणपखेरू उड़ाकर दाह संस्कार कर सकते हैं. तुम्हारे घरवाले इस प्रकार से हमारे ऊपर विश्वास करते हैं व हमारे गुलाम हैं. वह हमारे से बाहर जा नहीं सकते. यह तुमको अच्छे से पता है. हमारी सरकार में बहुत चलती है. हरियाणा और पंजाब के मुख्यमंत्री, पंजाब के केंद्रीय मंत्री हमारे चरण छूते हैं. राजनीतिज्ञ हमसे समर्थन लेते हैं, पैसा लेते हैं और हमारे खिलाफ कभी नहीं जाएंगे.
आगे कहा, हम तुम्हारे परिवार के नौकरी लगे सदस्यों को बर्खास्त करवा देंगे. सभी सदस्यों को अपने सेवादारों (गुंडों) से मरवा देंगे. सबूत भी नहीं छोड़ेंगे. यह तुम्हें अच्छी तरह पता है कि हमने गुंडों से पहले भी डेरे के प्रबंधक फकीर चंद को खत्म करवा दिया था जिनका अता-पता तक नहीं है. न ही कोई सबूत बकाया है, जो कि पैसे के बल पर हम राजनीतिक व पुलिस और न्याय को खरीद लेंगे.
चिट्ठी में आगे लिखा है कि इस तरह मेरे साथ मुंह काला किया और पिछले तीन मास में 20-30 दिन से किया जा रहा है. आज मुझको पता चला कि मेरे से पहले जो लड़कियां रहती थीं, उन सबके साथ मुंह काला किया गया है. डेरे में मौजूद 35-40 साधु लड़की 35-40 वर्ष की उम्र से अधिक हैं जो शादी की उम्र से निकल चुकी हैं. जिन्होंने परिस्थितियों से समझौता कर लिया है, इनमें ज़्यादातर लड़कियां बीए, एमए, बीएड, एमफिल पास हैं मगर घरवालों के अंधविश्वासी होने के कारण नरक का जीवन जी रही हैं.
हमें सफेद कपड़े पहनना, सिर पर चुन्नी रखना, किसी आदमी की तरफ आंख न उठाकर देखना, आदमी से 5-10 फुट की दूरी पर रहना महाराज का आदेश है. दिखाने में देवी हैं, मगर हमारी हालत वेश्याओं जैसी है. मैंने एक बार अपने परिवारवालों को बताया कि डेरे में सब कुछ ठीक नहीं है तो मेरे घर वाले गुस्से में होते हुए कहने लगे कि अगर भगवान के पास रहते हुए ठीक नहीं है तो ठीक कहां है. तेरे मन में बुरे विचार आने लग गए हैं. सतगुरु का सिमरण किया कर.
मैं मजबूर हूं. यहां सतगुरु का आदेश मानना पड़ता है. यहां कोई भी दो लड़कियां आपस में बात नहीं कर सकतीं. घरवालों को टेलीफोन मिलाकर बात नहीं कर सकतीं. घरवालों का हमारे नाम फोन आए तो हमें बात करने का महाराज के आदेशानुसार हुक्म नहीं है. यदि कोई लड़की डेरे की इस सच्चाई के बारे में बात करती है तो महाराज का हुक्म है कि उसका मुंह बंद कर दो.
पिछले दिनों बठिंडा की लड़की साधु ने जब महाराज की काली करतूतों का सभी लड़कियों के सामने पर्दाफाश किया तो कई साधु लड़कियों ने मिलकर उसे पीटा. जो आज भी घर पर इस मार के कारण बिस्तर पर पड़ी है. जिसका पिता ने सेवादारों से नाम कटवाकर चुपचाप घर बैठा दिया है. जो चाहते हुए भी बदनामी और महाराज के डर से किसी को कुछ नहीं बता रही.
कुरुक्षेत्र जिले की एक साधु लड़की जो घर आ गई है, उसने अपने घर वालों को सब कुछ सच बता दिया है. उसका भाई बड़ा सेवादार था, जो कि सेवा छोड़कर डेरे से नाता तोड़ चुका है. संगरूर जिले की एक लड़की जिसने घर आकर पड़ोसियों को डेरे की काली करतूतों के बारे में बताया तो डेरे के सेवादार/गुंडे बंदूकों से लैस लड़की के घर आ गए. घर के अंदर से कुंडी लगाकर जान से मारने की धमकी दी व भविष्य में किसी से कुछ भी नहीं बताने को कहा. इसी प्रकार कई लड़कियां, जैसे कि जिला मानसा (पंजाब), फिरोजपुर, पटियाला, लुधियाना की हैं, जो घर जाकर भी चुप हैं. क्योंकि उन्हें जान का खतरा है.
इसी प्रकार जिला सिरसा, हिसार, फतेहबाद, हनुमानगढ़, मेरठ की कई लड़कियां जो कि डेरे की गुंडागर्दी के आगे कुछ नहीं बोल रहीं. इन सब लड़कियों के साथ-साथ मुझे भी मेरे परिवार के साथ जान से मार दिया जाएगा अगर मैं इसमें अपना नाम-पता लिखूंगी, क्योंकि मैं चुप नहीं रह सकती और न ही मरना चाहती हूं. जनता के सामने सच्चाई लाना चाहती हूं. अगर आप प्रेस के माध्यम से किसी भी एजेंसी से जांच करवाएं तो डेरे में मौजूद 40-45 लड़कियां, जो कि भय और डर में हैं, पूरा विश्वास दिलाने के बाद सच्चाई बताने को तैयार हैं.
हमारा डॉक्टरी मुआयना किया जाए ताकि हमारे अभिभावकों व आपको पता चल जाएगा कि हम कुमारी देवी साधु हैं या नहीं. हमारी मेडिकल रिपोर्ट ये साफ बता देगी कि हमारी ज़िंदगी डेरा सच्चा सौदा के महाराज गुरमीत राम रहीम सिंह जी संत के द्वारा तबाह की गई है.
प्रार्थी एक निर्दोष जलालत का जीवन जीने को मजबूर (डेरा सच्चा सौदा सिरसा)
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