सीकर/ लक्ष्मणगढ़. राजस्थान में बंद हुए सरकारी स्कूल फिर खुल सकेंगे। इसके लिए ग्रामीणों को शिक्षा विभाग के पास प्रस्ताव भिजवाना होगा। जिसके बाद सरकार वहां अंग्रेजी माध्यम स्कूल शुरू कर देगी। यह बात शिक्षा राज्य मंत्री ने रविवार को लक्ष्मणगढ़ में पत्रकारों से बातचीत करते हुए कही। हालांकि उन्होंने इसके लिए गांव में पांच हजार की आबादी की शर्त भी बताई। कहा, कि पांच हजार की आबादी में स्कूल नहीं होने पर स्कूल खोले जा सकेंगे।
इसी साल शुरू होगा कॉलेज का कामइस दौरान डोटासरा ने लक्ष्मणगढ़ में सरकारी कॉलेज के भवन निर्माण के मामले पर कहा कि सरकार को पांच करोड़ रुपए का प्रस्ताव बनाकर भेजा हुआ है। बजट स्वीकृत होते ही इसी साल कॉलेज का काम शुरू हो जाएगा। उन्होंने कहा कि कोरोनाकाल में बच्चों को बेहतर शिक्षा देने के लिए ऑनलाइन एप के जरिए पढ़ाई जा रही है। डोटासरा ने कहा कि पिछले साल राजस्थान में कोरोना की वजह से बच्चों पढ़ाई बंद नहीं हुई। प्रदेश के विद्यार्थियों को स्माइल प्रोजेक्ट, हवामहल, ई-कक्षा, दूरदर्शन, रेडियो, आओ चले विद्यालय की ओर आदि के माध्यम से विद्यार्थियों को शिक्षा दी गई। जिसकी वजह से ही प्रदेश पूरे देश में सिरमौर बना। अब गुणवत्ता शिक्षा के मामले में राजस्थान पूरे देशभर में दो नंबर पर है। उन्होंने कहा कि पिछले साल शिक्षकों ने कोरोना गाइडलाइन की पालना करते हुए बच्चों को घर-घर जाकर होमवर्क भी दिया और उसे जांचा भी। इस नवाचार को काफी सराहना मिली है। कोरोना के बीच में यह सत्र भी शुरू हो गया है। ऐसे में बच्चों की पढ़ाई के लिए ऑनलाइन सभी माध्यमों को अपनाया जाएगा।
पुस्तकालय अध्यक्षों की पदोन्नति जल्दइस दौरान शिक्षा मंत्री डोटासरा ने कहा कि पुस्तकालय अध्यक्षों की लम्बित पदोन्नति की मांग को लेकर सरकारी स्तर पर मंथन चल रहा है। नियमों में आवश्यक संशोधन का कार्य होने के बाद संभवतया जुलाई से पदोन्नति का रास्ता साफ हो जाएगा। इससे प्रदेश के हजारों कर्मचारियों को फायदा मिलेगा।
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