जयपुर || शिक्षा मंत्री गोविंद डोटासरा का सम्बोधन, कहा- मैं ग्रामीण परिवेश से आता हूं। हमने संसाधनों की कमी को देखा ही नहीं। अब उस सोच में बदलाव आ रहा है,लोग स्वास्थ्य और शिक्षा के प्रति भी जागरूक हो रहे हैं. शिक्षा राज्य मंत्री डोटासरा ने कहा कि समाज में पहले के मुकाबले शिक्षा और स्वास्थ्य के क्षेत्र में अधिक जागरूकता आई है। उन्होंने पोषण अभियान को महत्वपूर्ण बताते हुए कहा कि इसमें सभी के योगदान की जरूरत है।
उन्होंने कहा कि आंगनबाड़ी को प्री-प्रायमरी किये जाने का मुख्यमंत्री श्री गहलोत द्वारा महत्ती निर्णय लिया गया है। इससे शिक्षा के साथ स्वास्थ्य को भी सभी स्तरों पर सुनिश्चित किया जा सकेगा. मंत्री डोटासरा ने कहा कि शिक्षा विभाग द्वारा बच्चों की रुचि के अनुसार पढाए जाने की पहल की गई है। साथ ही बस्ते के बोझ को कम करने के पायलट प्रोजेक्ट की पहल की गई है। राजस्थान देश का पहला ऐसा राज्य है, जहां ऐसी शुरुआत की गई है।
उन्होंने कहा कि विद्यालयों में शिक्षा के साथ, खेलकूद प्रोत्साहन हेतु 38 करोड़ रुपये का बजट प्रावधान किया गया है। इससे स्वस्थ तन के साथ स्वस्थ मन से शिक्षा के स्वप्न को साकार किया जा सकेगा।
शिक्षा मंत्री गोविंद डोटासरा ने शिक्षकों से किया आह्वान
शिक्षकों की समस्याओं को लेकर भी शिक्षा विभाग है गंभीर। अगर किसी शिक्षक को है कोई समस्या, तो निसंकोच होकर अपनी समस्या पहुंचाएं शिक्षा विभाग तक। अगर मुझसे मिलने चाहते हैं तो स्कूल समय के अलावा आएं।
पोषण अभियान में उत्कृष्ट कार्य करने पर सम्मान
महिला बाल विकास की तरफ से किया जा रहा हैं सम्मान। मंत्री गोविंद डोटासरा, ममता भूपेश, रघु शर्मा, सचिव गायत्री राठौड़, डायरेक्टर सुषमा अरोड़ा ने किया सम्मान।
पोषण अभियान की पुस्तिका का विमोचन
सभी विभागों के सहयोग से सफल होगा अभियान। इसी सोच के साथ पोषण अभियान का शुभारंभ।