राजस्थान की गहलोत सरकार ने पूर्ववर्ती बीजेपी सरकार की ओर से आखिरी 6 महीने के कार्यकाल में विभिन्न नेताओं पर दर्ज मुकदमे वापस लेने की समीक्षा करने का फैसला किया है। गृह विभाग ने इन मामलों की फाइलों का परीक्षण करने की सहमति दे दी
अशोक गहलोत सरकार पूर्ववर्ती भाजपा सरकार की ओर से आखिरी 6 महीने के कार्यकाल में विभिन्न नेताओं पर दर्ज मुकदमे वापस लेने की समीक्षा करेगी। गृह विभाग ने इन मामलों की फाइलों का परीक्षण करने की सहमति दे दी है. पूर्ववर्ती राजे सरकार ने आखिरी 6 महीनों में बीजेपी सांसद किरोड़ीलाल मीणा समेत अन्य नेताओं पर दर्ज कुल 269 केस वापस लिए थे।
खाद्य मंत्री रमेश मीणा ने 8 केसों पर जताई आपत्ति
सचिवालय में गुरुवार को कैबिनेट सब कमेटी की हुई अहम बैठक में खाद्य मंत्री रमेश मीणा ने 8 केस वापस लेने पर आपत्ति जताई। बैठक के बाद कैबिनेट सब कमेटी के संयोजक यूडीएच मंत्री शांति धारीवाल ने कहा कि कमेटी की आगामी बैठक में इन केसों की फाइल तलब की गई है। पूर्ववर्ती सरकार के आखिरी 6 महीने में वापस लिए गए केसों का रिव्यू किया जाएगा।
पीसीसी के नियमों में संशोधनों पर पुर्नविचार करेगी
पिछली सरकार ने 6 हजार कांस्टेबलों को हैड कांस्टेबल के पद पर प्रमोशन दिया था। पूर्व में 100 फीसदी प्रमोशन पीसीसी (प्रमोशन कांस्टेबल कोर्स) पास करने पर ही होते थे. लेकिन बीजेपी सरकार ने अधिकांश कांस्टेबलों के पीसीसी पास नहीं करने की स्थितियों को देखते हुए नियमों में बदलाव कर दिया था। बदलाव के बाद 50 फीसदी प्रमोशन और 50 फीसदी पीसीसी के जरिए प्रमोशन कर दिए थे। कैबिनेट सब कमेटी नियमों में संशोधनों पर पुर्नविचार करेगी।
मुख्य सचिव भी रहे मौजूद
कैबिनेट सब कमेटी की बैठक में यूडीएच मंत्री शांतिधारीवाल समेत खादय मंत्री रमेश मीणा और जलदाय मंत्री बीडी कल्ला, मुख्य सचिव डीबी गुप्ता और गृह विभाग के अतिरिक्त मुख्य सचिव राजीव स्वरुप समेत अन्य विभागीय अधिकारी मौजूद रहे।